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Public Opinion: अल्मोड़ा के सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय में बीबीए डिपार्टमेंट में सिर्फ एक ही परमानेंट प्रोफेसर हैं, जो अपने सब्जेक्ट के साथ अन्य सब्जेक्ट की पढ़ाई कराते हैं. इसको लेकर छात्रों का आरोप है, कि उ…और पढ़ें

अल्मोड़ा का सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय.
हाइलाइट्स
- बीबीए डिपार्टमेंट में सिर्फ एक प्रोफेसर हैं
- छात्रों को पढ़ाई में हो रही है परेशानी
- प्रोफेसर की नियुक्ति की मांग की गई
अल्मोड़ा: उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय में शहरी और ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे काफी संख्या में पढ़ाई करने के लिए आते हैं. वैसे तो विश्वविद्यालय में कई कोर्स की कराए जाते हैं, पर कुछ ऐसे डिपार्टमेंट भी हैं, जिसमें प्रोफेसर की कमी होने की वजह से छात्र-छात्राओं को पढ़ाई में काफी परेशानियां आती हैं. बताया जाता है, विश्वविद्यालय के बीबीए डिपार्टमेंट में सिर्फ एक ही परमानेंट प्रोफेसर हैं, जो अपने सब्जेक्ट के साथ अन्य सब्जेक्ट की पढ़ाई करते हैं. इसको लेकर एक छात्रा ने आरोप भी लगाया है, कि वह ग्रामीण क्षेत्र से आकर इस विश्वविद्यालय में पढ़ाई कर रहे हैं और इतनी फीस देने के बावजूद भी पढ़ाई राम भरोसे चल रही है. छात्र के अनुसार एक प्रोफेसर हैं जो अपने सब्जेक्ट के साथ अन्य सब्जेक्ट की पढ़ाई भी करते हैं. ऐसे में लोकल 18 के संवाददाता ने यहां के छात्र-छात्राओं से विश्वविद्यालय की पढ़ाई को लेकर खास बातचीत की., चलिए जानते हैं उन्होंने क्या बताया
तीन प्रोफेसर होने चाहिए
छात्र अक्षत ने बताया, कि वह बीबीए के 6th सेमेस्टर के छात्र हैं. उन्होंने विश्वविद्यालय का नाम सुनकर ही यहां पर एडमिशन लिया था. बीबीए का कोर्स एक प्रोफेशनल है, पर बीबीए के कोर्स में जिस तरीके से पढ़ाई होनी चाहिए थी, वह बिल्कुल नहीं हो पाती है, क्योंकि एक प्रोफेसर ही सभी सब्जेक्ट की पढ़ाई करा रहे हैं. पीयूष सर अकेले ही बीबीए के कोर्स की पढ़ाई करा रहे हैं. कई बार तो सिलेबस पूरा करने के लिए कई घंटे तक बैठे रहते हैं. कई बार विश्वविद्यालय के द्वारा कॉन्ट्रैक्ट बेस पर प्रोफेसर को लाया जाता है, पर जिस तरीके से प्रोफेसर पढ़ाई करवाते हैं वैसे बिल्कुल नहीं हो पाती है. उन्होंने कॉलेज प्रशासन से मांग की है, इस तरीके के प्रोफेशनल कोर्स में प्रोफेसर की नियुक्ति होनी चाहिए, ताकि बच्चों का भविष्य अंधकार की ओर न जाए और कम से कम तीन प्रोफेसर इस कोर्स के लिए होने चाहिए.
90 किलोमीटर दूर रहकर कर रहे हैं पढ़ाई
छात्र हिमांशु ने बताया, कि वह भी बीबीए के छात्र हैं और वह बागेश्वर के रहने वाले हैं. उनकी डिपार्टमेंट में प्रोफेसर की कमी होने की वजह से काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. कभी-कभी तो एक क्लास चल पाती है, जिस वजह से कोर्स भी कंप्लीट नहीं हो पाता है. उन्होंने यह भी बताया, कि क्लास का समय भी निर्धारित नहीं है. वह भी एक टीचर के द्वारा इस कोर्स की पढ़ाई कराई जा रही है. इसके अलावा कॉलेज में अन्य फैसिलिटीज भी नहीं है क्योंकि शौचालय से लेकर इंफ्रास्ट्रक्चर खराब है, जिस वजह से छात्र-छात्राओं को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है.
डिपार्टमेंट में होती है पढ़ाई
वहीं, छात्रा उषा जोशी ने बताया, कि बीएससी 6th सेमेस्टर की वह छात्रा हैं. उनके पहले सेमेस्टर से लेकर आखिरी सेमेस्टर तक पढ़ाई बिल्कुल ठीक रही है और प्रोफेसर समय पर आकर कोर्स कंप्लीट कराते हैं. इसके अलावा उनके डिपार्टमेंट में पढ़ाई बिल्कुल ठीक चलती है.